Saturday 15 August 2015

यह मेरा हिन्दुस्तान अभियान

आजादी नामा ( 59 ) 15 अगस्त 2015

(यह मेरा हिन्दुस्तान अभियान)

आजादी निजी धन सम्पति बटोरने के लिये नहीं
राष्ट्र के वैभव, गौरव व साहस सम्मान के लिए पाई है।
(दान करो, बलिदान करो, राष्ट्र का सम्मान करो)
आजादी के लिए मर मीटे लाखों दिवाने और कई राष्ट्र-रत्न इन्हें सत् सत् नमन और हार्दिक श्रृद्धांजलि
| जय हिन्द !
सम्मानीय देश प्रेमी चितौड़गढ़ मेवाड़ के सभी देशवासियों,
राष्ट्र के इस महान स्वतंत्रता दिवस के पवित्र पर्व पर श्रेष्ठ अभिनंदन व हार्दिक शुभकामनाएं !
आज हम सभीदेशवासी मिलकर देश का 69 वां स्वतंत्रता दिवस बड़ी हंसी खुशी से मनाने जा रहे है। इतने वर्ष स्वतंत्रता के बीत जाने के पश्चात भी देश के सभी गांव शहर के 126 करोड़ देशवासियों को जीवन की वो समान सुख-सुविधाएं एवं आपसी घनिष्ट स्नेह-प्रम नहीं मिल पाया हैं, जो प्राप्त होना चाहिए था। कारण हम सभी जानते है जिनकी यहां व्याख्या व चर्चा करना जरूरी नहीं है।
अब तो सीधी बात पर आकर दिल की गहराई से "विश्वासपूर्वक संकल्प ले" कि,
  1. बिना किसी भेदभाव व मनमुटाव के बुद्धिमान व सुशिक्षित बन अच्छे नागरिक की हैसियत से हम हिन्दुस्तानी एक दूसरे का दुख-दर्द समझते हुए, विभिन्न भाषा जाति धर्म अपनाते हुए, प्रत्येक भाई बहन का भला चाहेगें व किसी को गरीब एवं कमजोर नहीं रहने देगें।
  2. व्यक्तिगत, परिवार, समाज, समुदाय व राष्ट्रस्तर की कई प्रचलित बुराईयों को मिटाते हुए केवल और केवल अच्छाईयों को बढ़ाते हुए रात दिन परिश्रम कर देश का वैभव, गौरव और सम्मान सारे विश्व में बढ़ाने के भागीरथ प्रयास करेंगे।
  3. हमारे महान मार्गदर्शी पर्व के त्यागी राष्ट्र नेताओं, जिन्होनें आजादी दिलाने के लिए अपना सब कुछ न्यौछावर कर अपने पूर्ण बहुमूल्य जीवन को देश के लिए समर्पित कर दिया था। उनकी महान प्रेरणा और आशीवाद से आपसी मनमुटाव समाप्त कर तेज गति से आगे बढ़ अपने हिन्दुस्तान में रामराज्य स्थापित कर इसे विश्व में पहला दर्जा दिलवायेगे, जिसका आजादी के आखिरी सालों में महात्मा गांधी (बापू ) ने सपना देखा था। 
  4. रामराज्य और प्रजातंत्र का मतलब है कि हम प्रत्येक नागरिक अपने शारीरिक बल, मानसिक बल, बौद्धिक विवेक बल एवं आत्मबल को ताकतवर बना, बिना किसी प्रकार के अनुदान भीख में विश्वास रखते हुए, समानता के आधार पर योग्य बन मेहनतपूर्वक कार्य करेंगे। 
  5. जनजागरूकता, जन चेतना व जनएकता के बल पर आज के प्रतिष्ठित नेताओं के बिना कोई आलोचना किये उन्हें राजधर्म के सही मार्ग पर चलने को मजबूर करेंगे, क्योंकि प्रत्येक चुनाव के पश्चात् पांच वर्षों तक हमें राज इन्हीं आदरणीय नेताओं के द्वारा चलवाना होता है । बिना ठोस वजह के विरोध, रैलियों, धरने व नारेबाजी, तोडफोड व नेताओं के पुतले जलाने इत्यादि में समय बर्बाद करना उचित नहीं । यही पवित्र धारणा देश की संसद व विधानसभाओं में विपक्ष के माननीय नेताओं को सोचकर गंभीरतापूर्वक देश के सर्वमान्य विकास व उन्नति के लिए कार्य करना चाहिए, तभी हमारी 126 करोड़ जनता का सही मायने में भला हो पायेगा । जय हिन्द !

मुस्कराते रहो तो सारी दुनियां आपके कदमों में होगी।
रोते हो तो हर इंसान आपको बोलेगा एक बड़ा ढोंगी।
अनुभव से बोलने वाला कहलाता है समाज में भूगत भोगी
गरीब - कमजोर का जो हौसला बढ़ाये कहलाता है वो योगी

राष्ट्रवादी बन नये दौर की लिखो नई आदर्श कहानी
सवा करोड़ हिन्दुस्तानियों रखो स्नेह-सफाई व पिओ साफ पानी
सत्यमेव जयते ! बोलो सच्चे दिल से अपनी हरेक जुबानी
बोलो आजादी के खातिर हम सब मर मिटेंगे अभिमानी व दानी

भाषा जाति धर्म हमारा है, केवल हमारा प्यारा हिन्दुस्तान
हम सब एक ही बगीचे के रंग रंगीले फूल हैं, इसकी पहचान